रविवार शाम तक राजस्थान, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के शिविरों में फंसे 1400 लोगों को बस द्वारा वापस उत्तराखंड लाया गया। इन तीनों राज्यों में अब तकरीबन सौ लोग और वापस लाए जाने हैं। रविवार तक 1.40 लाख लोगों ने उत्तराखंड वापस आने के लिए पंजीकरण कराया। इनमें सबसे अधिक दिल्ली, यूपी, हरियाणा और महाराष्ट्र में फंसे लोग शामिल हैं।
कोरोना के कारण देश भर में लागू हुए लॉकडाउन के बाद विभिन्न राज्यों में उत्तराखंड के लोग फंसे हुए हैं। इन्हें वापस लाने के लिए प्रदेश सरकार द्वारा एसओपी जारी की गई है। वेबसाइट व मोबाइल फोन नंबरों को सार्वजनिक कर इनके जरिये फंसे हुए लोगों का पंजीकरण कराया जा रहा है। इनमें अभी तक 1.40 लाख लोग पंजीकरण करा चुके हैं। इन्हें चरणबद्ध तरीके से वापस लाया जा रहा है। इसके अलावा 500 किमी व उससे अधिक फासले वाले राज्यों से लोगों का लाने के लिए ट्रेन लगाई जाएंगी।
फंसे हुए लोगों को वापस लाने के लिए नोडल अधिकारी बनाए गए सचिव परिवहन शैलेश बगोली ने बताया कि रविवार को राजस्थान, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में शिविरों में रुके उत्तराखंड के लगभग 1400 लोगों को बसों से वापस राज्य में लाया गया। राज्य के भीतर अपने घर से बाहर जो लोग दूसरे जिलों में फंसे हैं, उन्हें भी अपने जिले में भेजा जा रहा है। इनमें जो लोग अपने वाहन से जाना चाहते हैं उन्हें पास निर्गत किए जा रहे हैं।
राजस्थान सरकार से भी सहमति प्राप्त हुई है कि जो लोग अपने वाहन से उत्तराखंड आना चाहते हैं, उन्हें राजस्थान सरकार द्वारा प्राथमिकता से पास निर्गत किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि दूरस्थ स्थानों से उत्तराखंड के लोगों को वापस राज्य में लाए जाने के लिए रेल मंत्रालय से समन्वय कर व्यवस्था की जा रही है।
एसओपी बन रही है अड़ंगा
प्रदेश सरकार विभिन्न राज्यों में फंसे हुए लोगों को लाने के लिए सभी राज्यों से संपर्क कर रही है। इसमें एक बात सामने आई है कि अभी कई राज्यों ने दूसरे राज्यों के यात्रियों को लाने-जे जाने के लिए कोई एसओपी नहीं बनाई है। इस कारण इन राज्यों में बसें भेजने में भी दिक्कतें आ रही हैं।